Ram temple Ayodhya: प्रभु राम की नगरी अयोध्या में 500 वर्षों का संघर्ष राम भक्तों का साकार हो रहा है। प्रभु राम के विराजमान होने की सभी तैयारियां युद्ध स्तर पर चल रही है। विद्वानों का ऐसा मत है कि यह इस सदी का सबसे भव्य अनुष्ठान होगा। काशी के पंडित लक्ष्मीकांत मथुरादास दीक्षित के नेतृत्व में 50 ब्राह्मणों की टीम 16 से 22 जनवरी तक अयोध्या में रहेगी। प्राण-प्रतिष्ठा से पहले कुल 60 घंटे तक यज्ञ, हवन, 4 वेदों का परायण और कर्मकांडों का वाचन होगा।
5 से 7 दिन तक चलेंगे कार्यक्रम:
60 घंटे मंत्रोच्चार के बाद विराजेंगे राम
121 वैदिक विद्वान करेंगे धार्मिक अनुष्ठान
22 जनवरी को होगा मुख्य कार्यक्रम
त्रेता युग की तरह सज रही नगरी:
Ram temple Ayodhya: राजा राम की नगरी प्राण प्रतिष्ठा के लिए त्रेता युग की तरह सज और संवर रही है। इतना ही नहीं 22 जनवरी के पहले प्रभु राम की नगरी अपने राम के रंग में रंग जाएगी। उस दिन पूरे देश का वातावरण भी राममय नजर आएगा। मठ मंदिर पर भजन कीर्तन होंगे राम के रंग में पूरी दुनिया रंगीन नजर आएगी।
काशी के वैदिक विद्वान करेंगे अनुष्ठान:
Ram temple Ayodhya: बताया जाता है कि राम मंदिर में प्रभु राम का प्राण प्रतिष्ठा करने वाले मुख्य अर्चक पंडित लक्ष्मीकांत दीक्षित के पूर्वजों ने ही शिवाजी का राज्याभिषेक भी किया था। इतना ही नहीं आपको बताते चलें कि काशी के वैदिक विद्वान की परंपरा आदिकाल से चली आ रही है। यही वजह है कि अयोध्या में विराजमान होने वाले रामलला के प्राण प्रतिष्ठा का अनुष्ठान काशी के वैदिक विद्वान संपन्न कराएंगे।