Baloda Bazar : छत्तीसगढ़ के इतिहास में यह पहला मामला है जिसमें किसी नाबालिग को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है। यह मामला बालौदाबाजार (Baloda Bazar) का है, जहाँ 2021 में एक 7 साल की बच्ची के साथ दुष्कर्म और हत्या के बाद, 16 साल के नाबालिग अपराधी को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई थी।
यह घटना 25 मई साल 2021 की है, जिले के पौंसरी गांव के एक कुंए में बच्ची की शव मिला था। जब पुलिस की मौजूदगी में बच्ची के शव को निकाला गया तो उसके हाथ पैर बंधे हुए थे। जिसके बाद पुलिस ने मामला दर्ज करने के बाद जांच शुरु कर दी थी।
पुलिस की जांच में पता चला कि बच्ची के साथ दुष्कर्म हुआ है फिर उसकी हत्या की गई है। पुलिस को पूछताछ में पता चला कि बच्ची अपने पड़ोसी के घर खेलने गई थी। जहां आरोपी के द्वारा उसके साथ पहले दुष्कर्म किया फिर उसे लगा कि बच्ची इस बात को किसी को बता न दे तो उसकी हत्या कर दी। इस हत्या की जानकारी उसने अपने पड़ोसी दोस्त को दी। जिसके बाद दोस्त ने के साथ आरोपी ने मिलकर उसके हाथ पैर बांधे और उसके शव को कुएं में फेक दिया। इस पूरी बात की जानकारी आरोपी की मां को भी थी, जिसने सारा सच छुपाया था।
पुलिस ने जांच शुरू की और नाबालिग अपराधी को गिरफ्तार कर लिया। 2022 में, जिला एवं सत्र न्यायालय बलौदाबाजार ने अपराधी को आजीवन कारावास की सजा सुनाई।