दुर्ग: छत्तीसगढ़ के दुर्ग जिले में गणेश चतुर्थी के त्योहार से पहले ही एक खूनी संघर्ष हुआ है, जिसमें तीन लोगों की जान चली गई। यह घटना नंदिनी खुन्दिनी गांव में हुई, जहां दो समूहों के बीच हुए विवाद ने हिंसक रूप ले लिया।
क्या हुआ था?
यह घटना 6 सितंबर की रात को हुई जब पुराना शीतला मंदिर गणेश समिति के कुछ युवक डीजे पर नाच रहे थे। शीतला पारा समिति के कुछ लोगों ने इस पर आपत्ति जताई और इसी बात को लेकर दोनों समूहों में विवाद शुरू हो गया। विवाद इतना बढ़ गया कि दोनों पक्षों के बीच जमकर मारपीट हुई। मारपीट में लाठी, डंडे, पत्थर और अन्य हथियारों का इस्तेमाल किया गया।
दूसरे दिन, गांव के बुजुर्गों ने दोनों पक्षों को समझाने की कोशिश की लेकिन विवाद शांत नहीं हुआ। उसी शाम, वासु यादव नामक व्यक्ति ने आकाश पटेल को धमकी दी और उसे शीतला मंदिर के पास आने के लिए कहा। आकाश पटेल जब वहां पहुंचा तो वासु यादव और उसके साथियों ने उस पर हमला कर दिया। आकाश पटेल के साथ आए अन्य युवकों ने भी हमलावरों पर पलटवार किया। इस झड़प में करन यादव, वासु यादव और राजेश यादव की मौत हो गई।
पुलिस की कार्रवाई
इस घटना की सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और आठ संदिग्धों को हिरासत में लिया। गंभीर रूप से घायल आकाश पटेल को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। पुलिस ने इस मामले में हत्या का मामला दर्ज कर लिया है और जांच शुरू कर दी है।
ग्रामीणों का आरोप
ग्रामीणों ने पुलिस पर देरी से पहुंचने का आरोप लगाया है। उनका कहना है कि अगर पुलिस समय पर पहुंचती तो शायद जानें नहीं जातीं।