मुंगेली जिले में धान का उठाव अब तक हाईकोर्ट के निर्देशों के बाद भी शुरू नहीं हो पाया है, जिससे किसानों और समितियों को भारी नुकसान हो रहा है।
3 लाख 25 हजार क्विंटल धान खुले आसमान में पड़े हुए हैं, जो बारिश, धूप और चूहों के कारण खराब हो रहे हैं।
समिति सदस्यों का कहना है कि अगर जल्द ही धान का उठाव नहीं हुआ तो चावल की कमी हो सकती है।
हाईकोर्ट ने 1 अप्रैल से 30 अप्रैल के बीच धान उठाव का आदेश दिया था, लेकिन मार्कफेड अभी तक इस पर कार्रवाई नहीं कर पाया है।
देरी के कारण समितियों को कमीशन राशि में कटौती का भी सामना करना पड़ सकता है।
डीएमओ शीतल भोई का कहना है कि धान का डीओ कट चुका है और पड़ोसी जिलों से भी धान का उठाव किया जा रहा है।
लेकिन किसान और समितियां इस जवाब से संतुष्ट नहीं हैं और जल्द समाधान की मांग कर रहे हैं।