स्टाम्प शुल्क हेराफेरी: 173 लोगों पर कुर्की की कार्रवाई की तैयारी

बिलासपुर। जमीन की खरीदी-बिक्री में 173 लोगों द्वारा स्टाम्प शुल्क में सवा तीन करोड़ से अधिक की हेराफेरी का मामला सामने आया है। इन लोगों ने शासकीय गाइडलाइन के अनुसार निर्धारित शुल्क के बजाय कम राशि जमा की, जिससे सरकार को करोड़ों रुपये का राजस्व नुकसान हुआ। अब जिला पंजीयन विभाग इन बकायादारों से 3 करोड़ 26 लाख 86 हजार 905 रुपये की वसूली के लिए राजस्व वसूली प्रमाणपत्र (आरआरसी) जारी करने की तैयारी कर रहा है।

नोटिस के बाद भी नहीं हुआ भुगतान

जिला पंजीयक कार्यालय के अनुसार, जिन लोगों ने पूरा शुल्क जमा नहीं किया, उन्हें पहले अतिरिक्त स्टाम्प शुल्क जमा करने के लिए नोटिस भेजे गए थे। लेकिन समय सीमा बीत जाने के बाद भी भुगतान नहीं होने पर अब उनकी संपत्ति कुर्क करने की कार्रवाई की जाएगी।

पंजीयक ने दी सख्त चेतावनी

जिला पंजीयक राजीव स्वर्णकार ने बताया कि समय-समय पर वसूली के लिए अभियान चलाए जाते हैं। अब एक बार फिर सख्ती के साथ कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने स्पष्ट किया कि यदि बकाया राशि जमा नहीं की गई तो संबंधित संपत्तियों की कुर्की करके शासकीय राजस्व की हानि को पूरा किया जाएगा।

वसूली की राह में चुनौतियां

भू-राजस्व संहिता के तहत जिला पंजीयक को भी आरआरसी के माध्यम से वसूली का अधिकार है, लेकिन इसका पर्याप्त उपयोग नहीं हो पा रहा। ऐसे में विभाग को राजस्व विभाग पर निर्भर रहना पड़ता है। राजस्व अधिकारियों, विशेषकर तहसीलदारों की व्यस्तता के कारण वसूली की प्रक्रिया अक्सर धीमी हो जाती है, जिससे राजस्व हानि और बढ़ जाती है।

जल्द होगी संपत्ति कुर्की

विभाग ने संकेत दिए हैं कि बकायेदारों के खिलाफ जल्द ही संपत्ति कुर्की की कार्रवाई शुरू होगी। यह कदम न केवल राजस्व वसूली को तेज करेगा, बल्कि भविष्य में स्टाम्प शुल्क में हेराफेरी करने वालों के लिए सख्त संदेश भी साबित होगा।

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