इंदौर हाई कोर्ट में भोजशाला को लेकर सुनवाई, ज्ञानवापी के वकील ने रखा पक्ष

इंदौर: मध्य प्रदेश के धार जिले में स्थित भोजशाला को लेकर इंदौर हाई कोर्ट में कई याचिकाएं लगी हुई हैं. इन याचिकाओं में भोजशाला को हिंदुओं को सौंपने की मांग की गई है.

इन याचिकाओं की सुनवाई के लिए ज्ञानवापी केस के वकील विष्णु जैन इंदौर हाई कोर्ट में पेश हुए. उन्होंने कोर्ट में भोजशाला के एएसआई के सर्वे को लेकर जस्टिस धर्माअधिकारी के सामने अपना पक्ष रखा.

विष्णु जैन ने कहा कि एएसआई के सर्वे में भोजशाला को हिंदू मंदिर बताया गया है. उन्होंने कहा कि सर्वे में भोजशाला के परिसर में मंदिर के अवशेष मिले हैं.

उन्होंने कोर्ट से मांग की कि भोजशाला को हिंदुओं को सौंप दिया जाए.

कोर्ट ने इस मामले में अगली सुनवाई 27 फरवरी को तय की है.

भोजशाला विवाद:

भोजशाला को लेकर हिंदुओं और मुसलमानों के बीच विवाद चल रहा है. हिंदुओं का दावा है कि भोजशाला एक हिंदू मंदिर है, जबकि मुसलमानों का दावा है कि यह एक मस्जिद है.

यह विवाद 1920 के दशक से चल रहा है. 1935 में, धार स्टेट के दीवान नाडकर ने इस विवाद को सुलझाने के लिए एक आदेश जारी किया था. इस आदेश के तहत, मंगलवार को भोजशाला में पूजा और शुक्रवार को नमाज की अनुमति दी गई थी.

यह विवाद आज भी जारी है और दोनों पक्ष भोजशाला पर अपना दावा जता रहे हैं.

यह देखना बाकी है कि इंदौर हाई कोर्ट इस मामले में क्या फैसला सुनाता है.

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