रायपुर: न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी भारती कुलदीप के आदेश पर रायपुर के सिविल लाइन थाने में आईसीआईसीआई बैंक लिमिटेड गोल्ड लोन विभाग के खिलाफ आपराधिक न्यास भंग (धारा 409 भादवि) सहित कई धाराओं में मामला दर्ज किया गया है।
क्या है पूरा मामला?
शिकायतकर्ता देवेंद्र निवासी अंकित अग्रवाल ने बताया कि उन्होंने बैंक से करीब 14 लाख रुपये का गोल्ड लोन लिया था, जिसके लिए अपनी मां, पत्नी और भाभी के सोने के गहने गिरवी रखे थे। कोविड-19 महामारी के दौरान आर्थिक तंगी के कारण वह समय पर किश्त नहीं भर सके, लेकिन बाद में उन्होंने ब्याज और मूलधन का भुगतान कर दिया।
अंकित का आरोप है कि बैंक ने बिना पूर्व सूचना दिए उनके गहनों की नीलामी कर दी। उन्होंने बैंक पर आरबीआई के नियमों का उल्लंघन और फर्जी हस्ताक्षर करने का आरोप लगाया है।
न्यायालय का सख्त रुख
शिकायत पर सुनवाई के बाद कोर्ट ने सिविल लाइन पुलिस को मामले की जांच कर रिपोर्ट प्रस्तुत करने का आदेश दिया। इसके आधार पर बैंक के गोल्ड लोन विभाग और संबंधित अधिकारियों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 409, 417, 418, 420, 465 और 192 के तहत मामला दर्ज किया गया है।