छत्तीसगढ़ में शराब बिक्री ने तोड़े रिकॉर्ड, लेकिन नई दुकानों पर जनता का विरोध

रायपुर। छत्तीसगढ़ में चालू वित्तीय वर्ष 2025-26 की पहली तिमाही (अप्रैल से जून) में शराब बिक्री ने रिकॉर्ड तोड़ते हुए राज्य सरकार को करीब ₹2300 करोड़ का राजस्व दिलाया है। आबकारी विभाग के मुताबिक, यह आंकड़ा पिछले वर्ष की इसी अवधि से 10 प्रतिशत अधिक है।

राज्य सरकार ने सभी वर्गों के उपभोक्ताओं को ध्यान में रखते हुए देशी, विदेशी और अंग्रेजी शराब के विभिन्न ब्रांड बाज़ार में उतारे हैं। खासतौर पर देशी शराब की मांग में वृद्धि को देखते हुए “सवा शेरा” नाम का नया ब्रांड लॉन्च किया गया है, जिसने बिक्री को और बढ़ावा दिया है।

बढ़ते विरोध के बीच नई दुकानों पर रोक

राज्य सरकार की योजना के तहत 67 नई शराब दुकानों को मंजूरी दी गई थी, जिससे कुल संख्या 674 से बढ़कर 741 होनी थी। लेकिन रायपुर, दुर्ग, बलौदाबाजार समेत कई जिलों में आम नागरिकों, महिलाओं और राजनीतिक संगठनों ने सड़कों पर उतरकर प्रखर विरोध जताया है।

रणनीति में बदलाव

आबकारी विभाग के उच्च पदस्थ सूत्रों के अनुसार, स्थानीय विरोध को देखते हुए अब रणनीति में बदलाव किया गया है। नई दुकानें केवल उन्हीं स्थानों पर खोली जाएंगी जहां स्थानीय लोग सहमत हैं। जहां विरोध तेज़ है, वहां फिलहाल दुकानें नहीं खोली जाएंगी।

कैबिनेट से मिली थी मंजूरी

गौरतलब है कि राज्य मंत्रिमंडल ने पिछले साल के अंत में शराब दुकानों की संख्या में 10% वृद्धि को हरी झंडी दी थी। हालांकि ज़मीनी हकीकत और विरोध के चलते इस निर्णय का क्रियान्वयन अधर में लटका हुआ है।

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