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Water Crisis : रायपुर में जल संकट, टैंकरों पर निर्भर रहने को मजबूर लोग

राजधानी रायपुर में नवतपा का आठवां दिन लोगों के लिए बेहद मुश्किल भरा रहा। आसमान से आग बरस रही थी और धरती तप रही थी। इस भीषण गर्मी के साथ ही पानी की किल्लत ने लोगों की परेशानी को और बढ़ा दिया है।

पानी के लिए जद्दोजहद:

खम्हारडीह की सतनाम बस्ती, वृंदावन कालोनी, एकता चौक खम्हारडीह, कांपा की नहरपारा बस्ती, दलदल सिवनी के शिवाजी पारा, डबरी पारा, दयानगर, बैरागी बीएसयूपी कालोनी में लोग एक बाल्टी पानी के लिए घंटों लाइन में खड़े रहने को मजबूर हैं। नगर निगम के पानी टैंकरों के आने पर लोग बाल्टी, गुंडी हाथों में पानी पाने के लिए लपक पड़ते हैं।

सूखते बोरवेल, पतली नलों की धार:

तेज गर्मी के कारण सार्वजनिक और निजी बोरवेल सूख रहे हैं। नलों की धार इतनी पतली हो गई है कि बाल्टी भरने में भी काफी समय लग जाता है। यह स्थिति शहर के अन्य कई वार्डों में भी देखने को मिल रही है।

नगर निगम के प्रयास:

नगर निगम के जल विभाग ने शहरभर में 40 पानी टैंकर भेजकर लोगों तक पानी पहुंचाने का प्रयास किया है। जिन इलाकों में बोरवेल सूख गए हैं, वहां 22 जगहों पर नए बोरवेल खनन कराने का काम शुरू किया गया है।

रायपुर स्मार्ट सिटी लिमिटेड की योजना अधूरी:

रायपुर स्मार्ट सिटी लिमिटेड द्वारा 24 घंटे पानी आपूर्ति की योजना का लाभ इस गर्मी में शहर के 15 वार्डों को नहीं मिल पा रहा है। गोलबाजार, मौदहापारा, मोमिनपारा, बैजनाथ पारा में अभी तक नई पाइप लाइन नहीं बिछाई गई है। जिन इलाकों में पाइप लाइन बिछाकर कनेक्शन किए गए हैं, वहां पाइप लाइन टेस्टिंग का काम अभी अधूरा है। सूत्रों के मुताबिक, इस प्रोजेक्ट को पूरा होने में अभी 3 महीने का और समय लगेगा।

इन इलाकों में भारी पानी की किल्लत:

इस भीषण गर्मी और पानी की किल्लत से लोगों का जीना मुहाल हो गया है। लोग नगर निगम और प्रशासन से जल्द से जल्द समाधान की गुहार लगा रहे हैं।

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